Poems from Chaudhary Sunil Verma

माना कि तुम बड़े हो पर हम तो अभी बच्चे हैं जूठे तो तुम हो - हम तो अभी सच्चे है जो हमारे सपनों के घर कच्चे है वो तुम कच्चे ही रहने दो। अगर...